मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान द्वारा शुरू किए गए "युद्ध नशों विरुद्ध" मुहिम को लगातार 12वें दिन जारी रखते हुए, पंजाब पुलिस ने आज 543 स्थानों पर छापेमारी की। इस दौरान 71 एफआईआर दर्ज कर 118 नशा तस्करों को गिरफ्तार किया गया। इसके साथ ही, 12 दिनों में गिरफ्तार किए गए कुल नशा तस्करों की संख्या 1658 हो गई है।
दिनभर चले ऑपरेशन के दौरान 71 एफआईआर दर्ज, 994 ग्राम हेरोइन, 1.47 लाख रुपये ड्रग मनी बरामद
पुलिस टीमों ने पांच जिलों में 281 दवा दुकानों की भी जांच की
102 एसपी/डीएसपी रैंक के अधिकारियों के नेतृत्व में 250 से अधिक पुलिस टीमों ने 659 संदिग्ध व्यक्तियों की जांच की: अर्पित शुक्ला
खबर खास, चंडीगढ़ :
मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान द्वारा शुरू किए गए "युद्ध नशों विरुद्ध" मुहिम को लगातार 12वें दिन जारी रखते हुए, पंजाब पुलिस ने आज 543 स्थानों पर छापेमारी की। इस दौरान 71 एफआईआर दर्ज कर 118 नशा तस्करों को गिरफ्तार किया गया। इसके साथ ही, 12 दिनों में गिरफ्तार किए गए कुल नशा तस्करों की संख्या 1658 हो गई है।
पुलिस टीमों ने पकड़े गए नशा तस्करों के कब्जे से 994 ग्राम हेरोइन, 4633 नशीली गोलियां/कैप्सूल/इंजेक्शन और 1.47 लाख रुपये की ड्रग मनी भी बरामद की है। यह ऑपरेशन पंजाब डीजीपी गौरव यादव के निर्देशों पर राज्य के सभी 28 पुलिस जिलों में एक साथ चलाया गया।
इस संबंध में जानकारी देते हुए विशेष डीजीपी (कानून एवं व्यवस्था) अर्पित शुक्ला ने बताया कि 102 राजपत्रित अधिकारियों की निगरानी में 1600 से अधिक पुलिसकर्मियों वाली 250 से अधिक पुलिस टीमों द्वारा पूरे राज्य में छापेमारी की गई है। दिनभर चले इस ऑपरेशन के दौरान 659 संदिग्ध व्यक्तियों की जांच की गई। उन्होंने कहा कि पंजाब पुलिस ने एक व्यापक रणनीति तैयार की है और इस तरह के अभियान राज्य से नशे के खात्मे तक जारी रहेंगे।
विशेष डीजीपी ने बताया कि पंजाब सरकार द्वारा नशे के खात्मे के लिए तीन-स्तरीय रणनीति - प्रवर्तन, नशामुक्ति और रोकथाम (ई डी पी) लागू की गई है। पंजाब पुलिस ने इस रणनीति के "नशामुक्ति" भाग के तहत 19 व्यक्तियों को नशा छुड़ाने और पुनर्वास केंद्रों में इलाज कराने के लिए प्रेरित किया है, जबकि "रोकथाम" भाग के तहत आज पूरे राज्य में 154 जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए गए।
इस दौरान पुलिस टीमों ने फतेहगढ़ साहिब, कमिश्नरेट पुलिस लुधियाना, लुधियाना ग्रामीण, खन्ना और मलेरकोटला सहित पांच जिलों में 281 मेडिकल दुकानों का निरीक्षण किया, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि वे नशीली गोलियों या किसी अन्य मादक पदार्थ की अवैध बिक्री न करें और दवाओं की बिक्री से संबंधित निर्धारित नियमों का पालन करें।
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